नयी दिल्ली : कुश्ती महासंघ में खिलाड़ियों का यौन शोषण, मानसिक रूप से परेशान करने, खिलाड़ियों को जान से मारने की धमकी देने जैसे गंभीर आरोप के मामले में डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष और भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह की मुश्किले बढ़ती जा रही रही है. एक तो उनका पद जाना तय है और दूसरा यह कि अब पहलवान उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की तैयारी में है.
दरअसल पहलवानों ने यह कदम तब उठाया जब उन्हें सिर्फ आश्वासन दिया गया. उनका कहना है कि सरकार ने उन्हें सिर्फ आश्वासन दिया है, कोई ‘संतोषजनक जवाब नहीं’ और अगर डब्ल्यूएफआई को तुरंत प्रभाव से भंग नहीं किया गया तो वे इसके अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह पर कई प्राथमिकी दर्ज करायेंगे. बता दें कि भारतीय पहलवान इस मामले में दिल्ली के जंतर-मंतर में प्रदर्शन कर रहे हैं. बृहस्पतिवार को देश के शीर्ष पहलवानों ने अपना विरोध तेज करने की बात की.
जंतर मंतर पर धरने के दूसरे दिन कई और पहलवान शामिल हुए जिन्होंने इसे ‘भारतीय कुश्ती को नया जीवन देने’ की लड़ाई करार दिया। तीन बार राष्ट्रमंडल खेलों की पदक विजेता और भाजपा नेता बबीता फोगाट बृहस्पतिवार को सरकार की ‘संदेशवाहक’ बनीं और धरने पर बैठे पहलवानों को उनकी मांगें पूरी करने का आश्वासन दिया. टोक्यो ओलंपिक के रजत पदक विजेता रवि दहिया ने और अधिक समर्थन की गुहार लगायी, जबकि अंशु मलिक ने कहा कि पिछले साल डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष की बुल्गारिया में विश्व जूनियर चैम्पियनशिप के दौरान खिलाड़ियों के होटल में मौजूदगी ने महिला पहलवानों को किस तरह असहज कर दिया था.
उधर पहलवानों की टीम को सरकार के साथ बैठक के लिये बुलाया गया जिसमें विनेश फोगाट और बजरंग पूनिया तथा साक्षी मलिक और उनके पति सत्यव्रत शामिल थे. इन्होंने अपने मुद्दों पर खेल सचिव सुजाता चतुर्वेदी, खेल प्राधिकरण के महानिदेशक संदीप प्रधान और संयुक्त सचिव (खेल) कुणाल से भी चर्चा की बाद में विनेश ने कहा, ‘कल हममें से 1-2 पहलवान ही पीड़ित थीं लेकिन अब पांच-छह पहलवान ऐसी हैं जिनका उत्पीड़न किया गया था. हम सिर्फ डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष का इस्तीफा नहीं चाहते. हम उन्हें जेल भेजेंगे.’
एक घंटे तक चली बैठक में पहलवानों से विरोध प्रदर्शन खत्म करने को कहा गया और आश्वासन दिया गया कि उनकी शिकायतों का हल निकाला जायेगा. हालांकि पहलवान ठोस और तत्काल कार्रवाई चाहते थे और उन्होंने अपना विरोध तब तक जारी रखने का फैसला किया जब तक डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष को पद से हटा नहीं दिया जाता और राष्ट्रीय महासंघ को देश में उसके सभी राज्य कुश्ती संघ के साथ भंग नहीं कर दिया जाता. बाद में मीडिया से बात करते हुए विनेश ने बैठक में बातचीत का खुलासा नहीं किया लेकिन कहा, ‘दुर्भाग्य से हमें संतोषजनक जवाब नहीं मिला.’
बृजभूषण शरण सिंह दिल्ली से गोंडा रवाना हो गए. उन्होंने इस मुद्दे पर चर्चा के लिए 22 जनवरी को अयोध्या में डब्लूएफआई की आपात बैठक बुलाई है. चर्चा यह भी है कि इस बैठक में बृजभूषण अपने पद से इस्तीफा दे सकते हैं. हालांकि कुश्ती संघ के एक अधिकारी ने कहा कि वह इस्तीफा देंगे या नहीं यह अभी तय नहीं है. बुधवार को बृजभूषण ने इस्तीफा देने से साफ इनकार किया था.
दिल्ली में जंतर-मंतर पर बैठे खिलाड़ियों के समर्थन में पंचायत खापें दिल्ली कूच करेंगी. खापों ने सरकार को सीधे रूप से चेतावनी दी कि कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष पर एफआईआर दर्ज हो और सरकार उनको तुरंत बर्खास्त करें. उधर हरियाणा के रोहतक में अखिल भारतीय जनवादी महिला समिति, नागरिक मंच सहित कई अन्य जन संगठनों ने बृहस्पतिवार को रोष प्रदर्शन कर बृजभूषण शरण सिंह और हरियाणा ओलंपिक एसोसिएशन के अध्यक्ष संदीप सिंह के पुतले जलाए. संगठनों ने मांग की कि हरियाणा के आरोपी मंत्री संदीप सिंह वह भाजपा सांसद बृजभूषण शरण सिंह को तुरंत बर्खास्त कर उनके खिलाफ आपराधिक कानूनी कार्रवाई की जाए.